नयी दिल्ली, 19 दिसंबर (भाषा) पचास साल पुराने आयकर कानून का मसौदा फिर से तैयार करने के लिये गठित समिति भाषा को सरल बनाने और उन क्षेत्रों को आसान बनाने की दिशा में काम करेगा जो कई व्याख्याओं और समय-समय पर जोड़े गये प्रावधानों के कारण जटिल हो गये हैं। एक वरिष्ठ अधिकारी ने बुधवार को यह कहा। केंद्रीय प्रत्यक्ष कर बोर्ड (सीबीडीटी) सदस्य तथा समिति के प्रमुख अखिलेश रंजन ने कहा कि इस कदम का मकसद अनुपालन को प्रोत्साहित करना तथा कर निश्चितता सुनिश्चित करना है। रंजन ने यहां एक कार्यक्रम
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