लाहौर सरकार के दावों को खारिज करते हुए लाहौर हाई कोर्ट ने शुक्रवार को पूर्व प्रधानमंत्री का नाम नो फ्लाइ लिस्ट से हटाने को अनुमति दे दी है। इमरान सरकार ने नवाज के विदेश जाने के बीच कई बार रोड़ा अटकाने की कोशिश की। पाकिस्तानी मीडिया के मुताबिक सुनवाई के दौरान सरकार ने नवाज के भाई शहबाज शरीफ की याचिका का विरोध किया। कोर्ट की बेंच ने कहा कि अगर पूर्व प्रधानमंत्री अपने इलाज के लिए विदेश जाना चाहते हैं तो अदालत इसकी इजाजत देती है। बेंच ने सरकार से पूछा कि क्या इमरान सरकार को नवाज का नाम एग्जिट कंट्रोल लिस्ट (ECL) से हटाने के लिए शर्त रखने के जनादेश मिला है? गुरुवार को प्रेस कॉन्फ्रेंस को संबोधित करते हुए पीएमएल-एन अध्यक्ष शहबाज शरीफ ने कहा था कि यह सरकार गंदी राजनीति कर रही है। इमरान सरकार के मंत्री ने कहा था कि नवाज को विदेश जाने की अनुमति केवल एक बार ही दी जाएगी और चार हफ्ते के अंदर उन्हें वापस आना होगा। इसके बदले सरकार ने नवाज के परिवार से 7.5 अरब पाकिस्तानी रुपये के बॉन्ड भरने की भी मांग की थी। बता दें कि नवाज शरीफ कई हफ्तों से बीमार चल रहे हैं और वह भ्रष्टाचार के मामले में लाहौर की कोट लखपत जेल में सात साल कैद की सजा काट रहे हैं। पिछले महीने उनके प्लैटलेट गिरने के बाद उन्हें लाहौर के अस्पताल में भर्ती कराया गया था। काफी मशक्कत के बाद उनका प्लैटलेट लेवल सुधरा लेकिन उनके कई अंग बीमारी से ग्रस्त हैं। रविवार को वह अपना इलाज कराने इंग्लैंड जाने वाले थे लेकिन ईसीएल लिस्ट से नाम न हटने के वजह से उनका टिकट कैंसल कराना पड़ा।
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