त्योहारी सीजन के बाद गाड़ियों की बिक्री फिर गिरावट की राह पर

नई दिल्ली/मुंबईफेस्टिव सीजन के दौरान मामूली उछाल दिखने के बाद नवंबर में पैसेंजर गाड़ियों की डिमांड फिर से गिरावट के रास्ते पर आ गई। ग्राहक सुस्त आर्थिक माहौल में खरीदारी से परहेज कर रहे हैं। इंडस्ट्री एग्जिक्यूटिव्स का कहना है कि एमिशन नॉर्म्स में बदलाव से गाड़ी खरीदने की लागत बढ़ेगी। गाड़ी फाइनैंस कराने में भी काफी मुश्किल झेलनी पड़ रही है। इन सबके चलते अगले कुछ महीने तक बिक्री पर दबाव बना रह सकता है। ऑटोमोबाइल इंडस्ट्री की बिक्री में गिरावट की अगुआई देश की सबसे बड़ी कार कंपनी मारुति सुजुकी ने की। कंपनी ने नवंबर में 139,133 गाड़ियां बेचीं। इसमें एक साल पहले के मुकाबले 3.3 प्रतिशत की गिरावट आई। सालभर पहले के नवंबर महीने में इसकी 143,890 गाड़ियां बिकी थीं। इस दौरान छोटी कारों (ऑल्टो, S-Presso, पुरानी वैगनआर) की बिक्री 12.2 प्रतिशत गिरकर 26,306 यूनिट रही, जबकि कॉम्पैक्ट (नई वैगनआर, स्विफ्ट, डिजायर, बलेनो, सेलेरियो, इग्निस) की सेल्स 7.6 प्रतिशत बढ़कर 78,013 यूनिट रही। मिडसाइज सेडान की होलसेल बिक्री 62.3 प्रतिशत घटकर 1,448 यूनिट रही। मारुति सुजुकी में एग्जिक्यूटिव डायरेक्टर (मार्केटिंग और सेल्स) शशांक श्रीवास्तव ने बताया, ‘खुदरा बिक्री के लिहाज से अक्टूबर हौसला बढ़ाने वाला महीना था। त्योहारी सीजन खत्म हो चुका है। अब हमें सावधानी से देखना होगा कि अगले कुछ महीनों में डिमांड कैसी रहती है। अभी मार्केट में कई नेगेटिव फैक्टर हैं। सेफ्टी और एमिशन रेगुलेशन लागू होने की वजह से गाड़ी खरीदने की लागत बढ़ेगी। फाइनेंसिंग भी अहम मसला बना रहेगा। इन सबके अलावा इंडस्ट्री बीएस VI में शिफ्ट होने की तैयारी कर रही है।’ पिछले महीने देसी ऑटोमोबाइल निर्माता महिंद्रा ऐंड महिंद्रा की बिक्री भी 10 प्रतिशत घटकर 14,637 यूनिट रही। सेल्स और मार्केटिंग (ऑटोमोटिव डिवीजन) चीफ विजय राम नकरा ने बताया, ‘त्योहारी मौसम के बाद का महीना (नवंबर) ऑटोमोटिव इंडस्ट्री के लिए अच्छा नहीं रहा। पैसेंजर गाड़ियों के लिए मांग खासकर साल अंत में जोर पकड़ती है। इसलिए हमें कारोबारी लिहाज से दिसंबर के बेहतर होने की उम्मीद है।’ मारुति और महिंद्रा की तरह टाटा मोटर्स के पैसेंजर गाड़ियों की बिक्री भी 39 प्रतिशत घटकर 10,400 यूनिट रही। कंपनी ने बताया कि इसकी रिटेल सेल्स होलसेल के मुकाबले 15 प्रतिशत ज्यादा थी, जिससे मौजूदा वित्त वर्ष में इसे नेटवर्क स्टॉक को 35 प्रतिशत तक घटाने में मदद मिली। टाटा मोटर्स के प्रेसिडेंट (पैसेंजर व्हीकल्स बिजनेस यूनिट) मयंक पारीक ने कहा कि फेस्टिव सीजन के बाद घरेलू मार्केट में डिमांड सुस्त रहने के अलावा इंडस्ट्री बीएस VI एमिशन स्टैंडर्ड्स में शिफ्ट करने की तैयारी कर रही है। इससे भी नवंबर में होलसेल वॉल्यूम पर असर पड़ा। कंपनी आने वाले महीनों में नेक्सन ईवी, एल्ट्रोज और ग्रैविटास जैसे नए प्रॉडक्ट्स लॉन्च करने की तैयारी कर रही है। हालांकि, कोरियाई ऑटो दिग्गज हुंडई ने गिरावट के ट्रेंड को धता बताते हुए 2 प्रतिशत की ग्रोथ दर्ज की। इसकी समीक्षाधीन महीने में बिक्री 44,600 यूनिट रही। कंपनी को अपने हाल में लॉन्च- स्पोर्ट्स यूटिलिटी व्हीकल वेन्यू से बिक्री बढ़ाने में मदद मिली। हुंडई में नैशनल सेल्स के हेड विकास जैन ने कहा कि इंडस्ट्री के हालात मुश्किल बने हुए हैं, लेकिन ग्रैंड i10 Nios, एलीट i20, वेन्यू और क्रेटा की मदद से नवंबर में कंपनी की बिक्री में इजाफा हुआ। वहीं हाल में भारतीय बाजार में आने वाली एमजी मोटर इंडिया ने अपनी एसयूवी हेक्टर की 3,239 यूनिट बेची, जबकि जर्मनी की कार कंपनी फॉक्सवागन की बिक्री 17.4 यूनिट बढ़कर 2,937 यूनिट रही।


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